गोड्डा: कौन कहता है आसमां में सुराख नहीं होता.. जरूर होता है, जरा एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारो। यकीनन ये सिर्फ कहने-सुनने की बात नहीं बल्कि इसे साबित कर दिखाया है गोड्डा जिला के होनहार बच्चों ने। लड़कों को पछाड़ते हुए सुपर 100 की शत-प्रतिशत लड़कियां प्रथम श्रेणी से हुई पास, जबकि 85 में से 80 लड़के प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण हुए हैं। सबसे बड़ी बात तो ये है कि ये पहली बार हुआ है कि गोड्डा जिला के स्कूलों का परिणाम संताल परगना में सभी जिलों में सबसे उपर रहा है। जिले के सरकारी स्कूलों को परिणाम अब तक पहले स्थान पर परचम लहराने वाले देवघर के सरकारी स्कूलों के परिणाम से भी बेहतर रहा है। इसका दारोमदार छात्रों की जी तोड़ मेहनत पर तो है ही जिला प्रशासन और अदाणी फाउंडेशन के अधिकारियों का योगदान भी कमतर नहीं है। एक तरफ जहां ज्ञानोदय जैसे कार्यक्रम चला कर अदाणी फाउंडेशन ने छाज्ञों को समय पर कोर्स पूरा करने में मदद किया तो दूसरी ओर सुपर 100 जैसे कार्यक्रम के तहत छात्रों को विशेष रूप से तैयारी कराने का भी बीड़ा उठाया। यही वजह है कि दसवीं का इम्तहान देने के बाद से ही बच्चों को तो परिणाम का इंताजर था ही, लेकिन इस परिणाम का इंताजर खास तौर पर उन पदाधिकारियों, शिक्षकों और अदाणी फाउंडेशन के तमाम उन लोगों को भी था जिनकी साख दांव पर लगी थी। दरअसल जिला प्रशासन की प्रेरणा से दसवीं की परीक्षा में शामिल होने वाले बच्चों के लिए सुपर 100 कार्यक्रम के तहत जिले के 100 लड़कों और 100 लड़कियों का का चयन किया गया था। एक तरफ जहां लड़कों के लिए शहर के बाहर स्थित सिकटिया महिला आईटीआई में क्लास रूम का इंतजाम किया गया था तो वहीं दूसरी ओर लड़कियों के लिए कस्तूरबा विद्य़ालय पथरगामा में रहने और क्लास-रूम का खास इंतजाम किया गया था। जिला प्रशासन के दिशानिर्देश पर इन सभी लड़के-लड़कियों के रहने और खाने-पीने की व्यवस्था अदाणी फाउंडेशन की तरफ से की गई थी। उपायुक्त किरण कुमारी पासी खुद बच्चों को प्रेरणा देने अक्सर दोनों सेंटर पर जाकर उनका हौसला बढ़ाने का काम करती थी। जाहिर है इसी लगन का परिणाम है कि गोड्डा जिला का परिणाम संताल-परगना में सबसे बेहतर हुआ है। इससे पहले 12वी के परिणाम में भी गोड्डा के छात्रों ने अपना दमदार प्रदर्शन दर्ज किया है।
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